सरकार ने लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) में एक से पांच लाख रुपये तक के टेंडर आमंत्रित करने पर रोक लगा दी है। अब विभाग में 31 मार्च तक इस राशि तक के टेंडर नहीं हो सकेंगे। प्रदेश सरकार ने पीडब्ल्यूडी के इंजीनियर इन चीफ को ये आदेश दिए हैं। कैबिनेट मंत्री विक्रमादित्य सिंह को उक्त विभाग देने के दूसरे दिन ही सरकार ने यह फैसला लिया है। प्रदेश में अभी पांच लाख से ज्यादा राशि के टेंडर ऑनलाइन होते हैं। इसमें गड़बड़ी की आशंका नहीं रहती है। हालांकि प्रदेश सरकार ने पहले ही सभी विभागों को विकास कार्यों के टेंडर न करने के आदेश दिए थे।
मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने पूर्व भाजपा सरकार के कार्यकाल के अंतिम छह महीने में किए गए टेंडरों पर भी रोक लगाई है। बताया जा रहा है कि एक लाख तक के टेंडर करने की शक्तियां लोक निर्माण विभाग के अधिशाषी अभियंता के पास रहती है। पूर्व भाजपा सरकार के कार्यकाल में हुए टेंडरों में भी गड़बड़ी होने का अंदेशा जताया जा रहा है। अधिकारियों से चर्चा करने के बाद नई सरकार ने 31 मार्च तक छोटे विकास कार्यों के टेंडर आमंत्रित करने पर रोक लगाई गई है।